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पेरिस ओलंपिक में दो कांस्य पदक जीतने वाली मनु भाकर खेल रत्न से वंचित, जताई नाराजगी - Manu bhaker, who won two bronze medals in paris olympics, was denied khel ratna, expressed displeasure

पेरिस ओलंपिक में दो कांस्य पदक जीतने वाली मनु भाकर खेल रत्न से वंचित, जताई नाराजगी – Manu bhaker, who won two bronze medals in paris olympics, was denied khel ratna, expressed displeasure

2024 पेरिस ओलंपिक में दो कांस्य पदक जीतकर इतिहास रचने वाली भारत की शीर्ष निशानेबाज मनु भाकर, खेल रत्न पुरस्कार से वंचित होने पर नाराज और निराश हैं। मनु का दावा है कि उन्होंने ऑनलाइन पोर्टल के माध्यम से अपना नामांकन जमा किया था, फिर भी देश के सर्वोच्च खेल सम्मान के लिए उनके नाम पर विचार नहीं किया गया। मनु भाकर एक ही ओलंपिक में दो पदक जीतने वाली पहली भारतीय खिलाड़ी हैं। इसके बावजूद 30 नामों की शॉर्टलिस्ट में जगह न मिलने पर उन्होंने और उनके पिता ने सवाल उठाए हैं। मनु के पिता ने एक इंटरव्यू में कहा, मुझे अफसोस है कि मैंने उसे शूटिंग में डाला। मुझे उसे क्रिकेटर बनाना चाहिए था। अगर वह क्रिकेटर होती, तो उसे सभी पुरस्कार और सम्मान मिलते। उसने ओलंपिक में देश के लिए असाधारण प्रदर्शन किया। इसके बावजूद उसकी उपलब्धियों को नजरअंदाज किया गया। खेल मंत्रालय ने दावा किया है कि मनु ने पुरस्कार के लिए आवेदन नहीं किया था। लेकिन मनु और उनके परिवार ने इस दावे को खारिज कर दिया। मनु के पिता ने कहा, मनु ने पोर्टल पर आवेदन किया था। अगर ऐसा है, तो समिति ने उसके नाम पर विचार क्यों नहीं किया? यह सरासर अनदेखी है। सूत्रों के मुताबिक, निशानेबाजी महासंघ ने खेल मंत्रालय से इस मुद्दे को सुलझाने और मनु का नाम शामिल करने का अनुरोध किया है। मनु ने कथित तौर पर पद्म भूषण और पद्म श्री के लिए भी आवेदन किया है। रिपोर्ट्स के अनुसार, उनके नामांकन 15 सितंबर को संबंधित पोर्टल पर जमा किए गए थे। मनु के पिता ने कहा, मनु ने मुझसे कहा कि शायद उसे ओलंपिक में नहीं जाना चाहिए था। वह कह रही थी कि उसे खिलाड़ी नहीं बनना चाहिए था। यह स्थिति उसके जैसे समर्पित खिलाड़ी के लिए बेहद निराशाजनक है।   पेरिस ओलंपिक में दो कांस्य पदक जीतने वाली मनु भाकर खेल रत्न से वंचित, जताई नाराजगी – Manu bhaker, who won two bronze medals in paris olympics, was denied khel ratna, expressed displeasure

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संजू सैमसन ने आईपीएल 2025 में ध्रुव जुरेल को सौंपी विकेटकीपिंग की जिम्मेदारी - Sanju samson handed over the responsibility of wicketkeeping to dhruv jurel in IPL 2025

संजू सैमसन ने आईपीएल 2025 में ध्रुव जुरेल को सौंपी विकेटकीपिंग की जिम्मेदारी – Sanju samson handed over the responsibility of wicketkeeping to dhruv jurel in IPL 2025

राजस्थान रॉयल्स (RR) के कप्तान संजू सैमसन ने आगामी इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) 2025 सीजन में विकेटकीपिंग की जिम्मेदारी छोड़ने पर विचार किया है। सैमसन, जिन्हें फ्रेंचाइजी ने 18 करोड़ रुपये में रिटेन किया है, ने युवा विकेटकीपर ध्रुव जुरेल को दस्ताने सौंपने की संभावना पर खुलकर बात की है। सैमसन ने एबी डिविलियर्स के यूट्यूब चैनल पर बातचीत में कहा, ध्रुव जुरेल ने हाल ही में भारत के लिए टेस्ट विकेटकीपर के रूप में अपनी पहचान बनाई है। मैं चाहता हूं कि वह आईपीएल में भी अपनी विकेटकीपिंग स्किल्स दिखाएं। हालांकि, यह निर्णय टीम की जरूरतों को ध्यान में रखकर लिया जाएगा। सैमसन ने आगे कहा कि वह और जुरेल संभवतः विकेटकीपिंग की जिम्मेदारी साझा कर सकते हैं। उन्होंने कहा, मैंने कभी फील्डर के रूप में कप्तानी नहीं की है, लेकिन अगर यह टीम के लिए बेहतर होगा, तो मैं तैयार हूं। ध्रुव जुरेल ने इस साल इंग्लैंड के खिलाफ घरेलू टेस्ट सीरीज में डेब्यू किया था और अपनी विकेटकीपिंग से प्रभावित किया। हालांकि, ऋषभ पंत की वापसी के बाद उन्हें प्लेइंग XI से बाहर होना पड़ा। आईपीएल में जुरेल के पास अपनी प्रतिभा को और निखारने का मौका होगा। सैमसन ने कहा कि टीम की जरूरतों को प्राथमिकता दी जाएगी। यदि वह विकेटकीपिंग छोड़ते हैं, तो उनके पास फील्डिंग और कप्तानी दोनों में खुद को चुनौती देने का मौका होगा। यह देखना दिलचस्प होगा कि सैमसन का यह निर्णय राजस्थान रॉयल्स के प्रदर्शन को कैसे प्रभावित करता है। ध्रुव जुरेल को विकेटकीपिंग की जिम्मेदारी देना टीम के लिए नए अवसर पैदा कर सकता है।   संजू सैमसन ने आईपीएल 2025 में ध्रुव जुरेल को सौंपी विकेटकीपिंग की जिम्मेदारी – Sanju samson handed over the responsibility of wicketkeeping to dhruv jurel in IPL 2025

संजू सैमसन ने आईपीएल 2025 में ध्रुव जुरेल को सौंपी विकेटकीपिंग की जिम्मेदारी – Sanju samson handed over the responsibility of wicketkeeping to dhruv jurel in IPL 2025 Read More »

पाकिस्तान-भारत विवाद के बीच हाइब्रिड मॉडल पर सहमति, अहमद शहजाद ने BCCI पर साधा निशाना - Amid pakistan-india dispute, agreement on hybrid model, Ahmed shehzad targets BCCI

पाकिस्तान-भारत विवाद के बीच हाइब्रिड मॉडल पर सहमति, अहमद शहजाद ने BCCI पर साधा निशाना – Amid pakistan-india dispute, agreement on hybrid model, Ahmed shehzad targets BCCI

पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (पीसीबी) और भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के बीच लंबे समय से चले आ रहे विवाद के बाद, अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) ने चैंपियंस ट्रॉफी 2025 के आयोजन के लिए हाइब्रिड मॉडल को मंजूरी दे दी है। इस मॉडल के तहत, पाकिस्तान टूर्नामेंट के अधिकांश मैचों की मेजबानी करेगा, जबकि भारत के मैच, जिनमें चिर प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान के खिलाफ मुकाबले भी शामिल हैं, एक तटस्थ स्थल पर आयोजित किए जाएंगे। बीसीसीआई ने पाकिस्तान में खेलने को लेकर सुरक्षा चिंताओं का हवाला दिया था, जिसके चलते भारतीय टीम को पाकिस्तान भेजने से इनकार कर दिया गया था। गुरुवार को आईसीसी ने दोनों बोर्डों के बीच समझौता कराया, जिससे यह विवाद समाप्त हुआ। शहजाद ने पॉडकास्ट मे कहा , अगर सीमा पर एक स्टेडियम बनाया जाए, जहां दोनों टीमें अपने-अपने छोर से प्रवेश कर सकें, तब भी भारत सरकार को इससे परेशानी होगी। वे कहेंगे कि आपके खिलाड़ी हमारी तरफ से आएंगे, तो वीजा नहीं देंगे। अहमद शहजाद का मानना है कि पीसीबी ने भारतीय टीम की पाकिस्तान में मेजबानी करने का सुनहरा मौका गंवा दिया। उन्होंने कहा, 2021 में सभी क्रिकेट बोर्डों ने इस बात पर सहमति दी थी कि चैंपियंस ट्रॉफी की मेजबानी पाकिस्तान करेगा। यह आईसीसी का निर्णय था, और इससे पीछे हटना संभव नहीं था। लेकिन अब हमें यह भूल जाना चाहिए कि भारतीय टीम कभी पाकिस्तान आएगी। यह केवल आईसीसी इवेंट के जरिए ही संभव था। पीसीबी ने इस अवसर को खो दिया। हाइब्रिड मॉडल पर सहमति के बाद भी कई सवाल उठ रहे हैं। क्रिकेट विशेषज्ञों का मानना है कि यह समाधान केवल अस्थायी है। दोनों देशों के बीच तनावपूर्ण संबंधों का असर क्रिकेट पर भी दिखता है।   पाकिस्तान-भारत विवाद के बीच हाइब्रिड मॉडल पर सहमति, अहमद शहजाद ने BCCI पर साधा निशाना – Amid pakistan-india dispute, agreement on hybrid model, Ahmed shehzad targets BCCI

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ब्रिसबेन टेस्ट के बाद आर अश्विन का चौंकाने वाला संन्यास, टीम चयन पर उठे सवाल - R ashwin shocking retirement after brisbane test, questions raised on team selection

ब्रिसबेन टेस्ट के बाद आर अश्विन का चौंकाने वाला संन्यास, टीम चयन पर उठे सवाल – R ashwin shocking retirement after brisbane test, questions raised on team selection

भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच हुए रोमांचक टेस्ट ड्रॉ के बाद जहां भारतीय खेमे में खुशी थी, वहीं अनुभवी स्पिनर रविचंद्रन अश्विन के अचानक अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास के फैसले ने क्रिकेट जगत को हैरान कर दिया। मैच खत्म होते ही अश्विन ने अपने संन्यास की घोषणा की, जिससे क्रिकेट प्रेमियों और विशेषज्ञों के बीच कई सवाल खड़े हो गए। आर अश्विन ने ब्रिस्बेन टेस्ट के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में भारतीय कप्तान रोहित शर्मा के साथ बैठकर अपने संन्यास की घोषणा की। हालांकि, उन्होंने अपने इस निर्णय पर सवालों का जवाब देने से इनकार कर दिया। रिपोर्ट के अनुसार, अश्विन के अचानक संन्यास के पीछे मुख्य कारण टीम में उनकी स्थिति और चयन को लेकर असमंजस था। रिपोर्ट में मुख्य कोच गौतम गंभीर की भूमिका का भी जिक्र किया गया है। अश्विन ऑस्ट्रेलिया दौरे पर तभी जाने को तैयार हुए थे, जब उन्हें प्लेइंग इलेवन में चुने जाने की गारंटी दी गई थी। हालांकि, पर्थ टेस्ट में वाशिंगटन सुंदर को उनके ऊपर तरजीह दिए जाने से उन्हें बड़ा झटका लगा। तीसरे टेस्ट में रविंद्र जडेजा को प्लेइंग इलेवन में शामिल किया गया, जिससे अश्विन को एहसास हुआ कि वह अब टीम की पहली पसंद नहीं हैं। जडेजा और सुंदर की जोड़ी को प्राथमिकता दिए जाने से अश्विन का भविष्य और अधिक अनिश्चित हो गया। मुख्य कोच गौतम गंभीर ने पर्थ टेस्ट के दौरान स्पष्ट कर दिया था कि भारत का नंबर 1 पसंदीदा स्पिनर अब अश्विन नहीं हैं। यह बयान उनके संन्यास के फैसले को मजबूती देने वाला साबित हुआ। कप्तान रोहित शर्मा ने अश्विन को गुलाबी गेंद के टेस्ट में खेलने के लिए मनाया, और वह इसमें सफल भी रहे। लेकिन जैसे ही तीसरे टेस्ट में अश्विन को फिर से प्लेइंग इलेवन से बाहर रखा गया, उन्होंने संन्यास का मन बना लिया। 38 वर्षीय अश्विन ने 537 टेस्ट विकेट लिए और भारतीय क्रिकेट के इतिहास में खुद को आधुनिक युग के महान गेंदबाजों में शामिल किया। हालांकि, वह समझ चुके थे कि वह अगले विश्व टेस्ट चैंपियनशिप चक्र (2027) तक टीम में बने नहीं रह सकते। अश्विन ने भारतीय टीम के लिए कई रिकॉर्ड बनाए और अपनी विविधतापूर्ण गेंदबाजी से विरोधी टीमों को परेशान किया। उनका संन्यास निश्चित रूप से भारतीय क्रिकेट के लिए एक युग का अंत है। अश्विन का यह फैसला क्रिकेट प्रेमियों और विशेषज्ञों के लिए चौंकाने वाला है। हालांकि, उन्होंने अपने प्रदर्शन और योगदान से भारतीय क्रिकेट में जो सम्मान और पहचान अर्जित की है, वह अमूल्य है।   ब्रिसबेन टेस्ट के बाद आर अश्विन का चौंकाने वाला संन्यास, टीम चयन पर उठे सवाल – R ashwin shocking retirement after brisbane test, questions raised on team selection

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सुनील गावस्कर का बड़ा दावा, रोहित शर्मा का फॉर्म बिगड़ा तो छोड़ सकते हैं कप्तानी - Sunil gavaskar big claim, if rohit sharma form deteriorates then he can leave captaincy

सुनील गावस्कर का बड़ा दावा, रोहित शर्मा का फॉर्म बिगड़ा तो छोड़ सकते हैं कप्तानी – Sunil gavaskar big claim, if rohit sharma form deteriorates then he can leave captaincy

भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान और महान बल्लेबाज सुनील गावस्कर ने भारतीय कप्तान रोहित शर्मा को लेकर बड़ा बयान दिया है। गावस्कर ने कहा कि अगर रोहित शर्मा का खराब फॉर्म जारी रहा, तो वह स्वेच्छा से कप्तानी छोड़ सकते हैं। रोहित हाल के मुकाबलों में बल्ले से निराशाजनक प्रदर्शन कर रहे हैं, जिससे प्रशंसकों और क्रिकेट विशेषज्ञों ने उनकी आलोचना की है। रोहित शर्मा ने हालिया टेस्ट मैचों में बल्लेबाजी क्रम बदलते हुए खुद को नंबर 6 पर उतारा, लेकिन यह फैसला टीम के लिए कारगर साबित नहीं हुआ। खासतौर पर ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पिछली दो टेस्ट पारियों में रोहित बड़ा स्कोर करने में विफल रहे। गावस्कर ने कहा कि अगर उनका फॉर्म नहीं सुधरा तो वह चयन समिति के निर्णय का इंतजार किए बिना खुद कप्तानी छोड़ने का निर्णय ले सकते हैं। गावस्कर ने कहा, मुझे लगता है कि रोहित को अगले कुछ मैचों में खेलने का मौका जरूर मिलेगा। लेकिन अगर वह रन नहीं बना पाते, तो मुझे यकीन है कि वह खुद ही कप्तानी छोड़ने का फैसला करेंगे। वह एक ईमानदार क्रिकेटर हैं और टीम पर बोझ नहीं बनना चाहेंगे। भारतीय क्रिकेट की बेहतरी के लिए वह सही कदम उठाएंगे। इस बीच, ऑस्ट्रेलियाई टीम के अनुभवी स्पिनर नाथन लियोन ने गाबा टेस्ट में भारतीय टीम की प्रतिक्रिया पर चर्चा की। भारत ने गाबा में फॉलोऑन से बचने के लिए संघर्ष किया। जसप्रीत बुमराह और आकाश दीप की आखिरी विकेट की साझेदारी ने टीम को पारी की हार से बचाया। लियोन ने कहा, जब आकाश दीप ने पैट कमिंस की गेंद पर गली के ऊपर से चौका लगाया, तो भारतीय कप्तान रोहित शर्मा, कोच गौतम गंभीर और विराट कोहली ने जश्न मनाते हुए हाई-फाइव किया। हमें उनकी प्रतिक्रिया पर हैरानी हुई, क्योंकि हमने खेल को उस स्थिति तक पहुंचाने के लिए अच्छा प्रदर्शन किया था। लियोन ने आगे कहा कि ऑस्ट्रेलियाई टीम अभी भी 185 रनों की बढ़त के साथ मजबूत स्थिति में है। उन्होंने भरोसा जताया कि अगर ऑस्ट्रेलिया अपनी पारी में अच्छी बल्लेबाजी करता है, तो वह यह टेस्ट जीत सकते हैं। रोहित शर्मा के लिए आने वाले मुकाबले बेहद अहम हैं। मेलबर्न और सिडनी टेस्ट में उनका प्रदर्शन यह तय कर सकता है कि वह कप्तानी बरकरार रखेंगे या नहीं। साथ ही, भारतीय टीम को अपने खेल को सुधारने की आवश्यकता है, ताकि आगामी मैचों में जीत दर्ज की जा सके।   सुनील गावस्कर का बड़ा दावा, रोहित शर्मा का फॉर्म बिगड़ा तो छोड़ सकते हैं कप्तानी – Sunil gavaskar big claim, if rohit sharma form deteriorates then he can leave captaincy

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इंग्लैंड की क्लीन स्वीप की उम्मीदों को झटका, न्यूजीलैंड ने तीसरे टेस्ट में मजबूत बढ़त बनाई - England hopes of a clean sweep dashed, New zealand took a strong lead in the third test

इंग्लैंड की क्लीन स्वीप की उम्मीदों को झटका, न्यूजीलैंड ने तीसरे टेस्ट में मजबूत बढ़त बनाई – England hopes of a clean sweep dashed, New zealand took a strong lead in the third test

तीसरे टेस्ट के दूसरे दिन न्यूजीलैंड ने इंग्लैंड के खिलाफ शानदार प्रदर्शन करते हुए खुद को जीत की ओर अग्रसर कर लिया। घरेलू टीम ने पहले इंग्लैंड को मात्र 143 रन पर समेटा और फिर अपनी दूसरी पारी में स्टंप तक 136/3 का स्कोर बना लिया। इस तरह न्यूजीलैंड ने अब इंग्लैंड पर 340 रनों की विशाल बढ़त हासिल कर ली है। न्यूजीलैंड के दिग्गज बल्लेबाज केन विलियमसन 50 रन बनाकर नाबाद रहे, जबकि विल यंग ने 60 रनों की महत्वपूर्ण पारी खेली। दोनों ने दूसरे विकेट के लिए 89 रनों की साझेदारी की। कप्तान टॉम लैथम के 19 रन पर आउट होने के बाद यह साझेदारी न्यूजीलैंड की पारी को स्थिरता प्रदान करने में सफल रही। इंग्लैंड के कप्तान बेन स्टोक्स ने दिन के आखिरी क्षणों में नाइटवॉचमैन विल ओ’रूर्के (0) को आउट करके इंग्लैंड को राहत दिलाई। इंग्लिश बल्लेबाजी ने दूसरी पारी में निराशाजनक प्रदर्शन किया। लंच और चाय के बीच, इंग्लैंड ने अपने आखिरी आठ विकेट सिर्फ 66 रन पर गंवा दिए। न्यूजीलैंड के तेज गेंदबाज विल ओ’रूर्के (3/33) ने अपने घातक स्पेल में इंग्लैंड के शीर्ष क्रम को तहस-नहस कर दिया। उन्होंने पहले जैकब बेथेल (12) को आउट किया और फिर ICC रैंकिंग के शीर्ष बल्लेबाजों हैरी ब्रूक और जो रूट को सस्ते में पवेलियन भेजा। मैट हेनरी (4/48) और मिशेल सेंटनर (3/7) ने इंग्लैंड की बल्लेबाजी के निचले क्रम को समेटने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। हेनरी ने सीरीज में जैक क्रॉली को पांचवीं बार आउट करते हुए 21 रन पर पवेलियन भेजा। इसके अलावा, उन्होंने बेन डकेट (11) को एलबीडब्ल्यू आउट कर इंग्लैंड के टॉप ऑर्डर पर हमला किया। सेंटनर ने ओली पोप (24) और बेन स्टोक्स (27) को अपने पहले सात गेंदों में आउट कर न्यूजीलैंड को पूरी तरह से ड्राइविंग सीट पर ला दिया। पहली पारी में न्यूजीलैंड ने मिशेल सेंटनर के 76 रनों की मदद से 315 रन बनाए। इंग्लैंड को न्यूजीलैंड का आखिरी विकेट लेने में एक घंटे से ज्यादा का समय लगा। पहले दो टेस्ट में बड़ी जीत दर्ज करने के बाद, इंग्लैंड के लिए तीसरे टेस्ट में प्रदर्शन निराशाजनक रहा। जैक क्रॉली की खराब फॉर्म (सीरीज में 9.6 की औसत) और इंग्लैंड के मध्यक्रम का प्रदर्शन चिंता का विषय बना हुआ है। 340 रनों की बढ़त के साथ, न्यूजीलैंड अब जीत के बेहद करीब है। इंग्लैंड को तीसरे दिन अपनी बल्लेबाजी में बड़ा सुधार करना होगा, अन्यथा क्लीन स्वीप की उनकी उम्मीदें पूरी तरह समाप्त हो सकती हैं।   इंग्लैंड की क्लीन स्वीप की उम्मीदों को झटका, न्यूजीलैंड ने तीसरे टेस्ट में मजबूत बढ़त बनाई – England hopes of a clean sweep dashed, New zealand took a strong lead in the third test

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गुकेश डी बने सबसे कम उम्र के विश्व शतरंज चैंपियन, डिंग लिरेन को हराकर रचा इतिहास - Gukesh D became the youngest world chess champion, created history by defeating ding liren

गुकेश डी बने सबसे कम उम्र के विश्व शतरंज चैंपियन, डिंग लिरेन को हराकर रचा इतिहास – Gukesh D became the youngest world chess champion, created history by defeating ding liren

भारत के खेल इतिहास में गुरुवार का दिन ऐतिहासिक बन गया जब गुकेश डी ने शतरंज में सबसे कम उम्र के विश्व चैंपियन बनने का गौरव हासिल किया। उन्होंने 14वें और अंतिम राउंड में चीन के डिंग लिरेन को मात देकर यह ऐतिहासिक उपलब्धि अपने नाम की। हालांकि खेल के आखिरी क्षणों तक मुकाबला बराबरी का लग रहा था। डिंग लिरेन की एक चूक ने गुकेश को जीत का सुनहरा मौका दिया, जिसे उन्होंने बखूबी भुनाया। फाइनल का यह नतीजा न केवल शतरंज प्रशंसकों के लिए, बल्कि महान विश्वनाथन आनंद के लिए भी अप्रत्याशित था। आनंद ने स्वीकार किया कि उन्हें गुरुवार को खिताब के फैसले की उम्मीद नहीं थी। उन्होंने सोचा था कि यह मुकाबला शुक्रवार को टाईब्रेकर तक खिंचेगा। आनंद ने कहा, यह न केवल ऐतिहासिक बल्कि आश्चर्यजनक भी है। इतिहास इसलिए क्योंकि गुकेश सबसे कम उम्र के विश्व चैंपियन बन गए। आश्चर्य इसलिए क्योंकि अंतिम क्षणों तक ऐसा नहीं लग रहा था कि खेल का फैसला आज ही हो जाएगा। टाईब्रेकर की संभावना ज्यादा थी। यह सुखद आश्चर्य था। गुकेश की ताकत के बारे में पूछे जाने पर आनंद ने कहा कि उनका प्रदर्शन हर पहलू में संतुलित है। शतरंज में हर चीज में उत्कृष्ट होना पड़ता है। गुकेश ने अपनी लगन और समर्पण से यह साबित किया है। गुकेश ने 11 साल पहले खोया हुआ खिताब भारत में वापस लाने पर गर्व व्यक्त किया। उन्होंने 2013 में नॉर्वे में विश्वनाथन आनंद और मैग्नस कार्लसन के बीच हुए मैच को याद करते हुए कहा, उस समय स्टैंड में बैठकर मैंने सोचा था कि बॉक्स के अंदर होना कितना खास होगा। आज यह सपना पूरा हुआ। गुकेश ने स्वीकार किया कि डिंग लिरेन से ऐसी गलती की उम्मीद नहीं थी। उन्होंने कहा, मुझे जीत की ज्यादा उम्मीद नहीं थी, लेकिन डिंग की चूक ने मुझे मौका दिया। यह मेरे लिए भावुक क्षण था। गुकेश की यह जीत न केवल भारतीय शतरंज के लिए एक मील का पत्थर है, बल्कि उनके समर्पण और मेहनत का नतीजा है। पांच बार के विश्व चैंपियन विश्वनाथन आनंद की विरासत को आगे बढ़ाते हुए गुकेश ने साबित कर दिया कि भारत में शतरंज का भविष्य उज्ज्वल है। शतरंज के इतिहास में यह क्षण लंबे समय तक याद किया जाएगा।   गुकेश डी बने सबसे कम उम्र के विश्व शतरंज चैंपियन, डिंग लिरेन को हराकर रचा इतिहास – Gukesh D became the youngest world chess champion, created history by defeating ding liren

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2025 चैंपियंस ट्रॉफी को लेकर विवाद अभी भी अनसुलझा, कार्यक्रम और प्रारूप पर अनिश्चितता - Dispute over 2025 champions trophy still unresolved, uncertainty over schedule and format

2025 चैंपियंस ट्रॉफी को लेकर विवाद अभी भी अनसुलझा, कार्यक्रम और प्रारूप पर अनिश्चितता – Dispute over 2025 champions trophy still unresolved, uncertainty over schedule and format

2025 ICC चैंपियंस ट्रॉफी को लेकर चल रहा विवाद अभी भी अनसुलझा है, टूर्नामेंट के कार्यक्रम पर अभी तक कोई आधिकारिक निर्णय नहीं हुआ है। भारत ने सुरक्षा चिंताओं का हवाला देते हुए पाकिस्तान की यात्रा करने से इनकार कर दिया है, जिससे इस बात पर व्यापक बहस छिड़ गई है कि अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (ICC) इस स्थिति को कैसे संभालेगी। एक ‘हाइब्रिड’ मॉडल का सुझाव दिया गया था, जिसमें भारत अपने मैच दुबई में खेल सकता था, लेकिन अभी तक कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की गई है। दिसंबर में ICC की बैठक, जिसमें इन मुद्दों पर चर्चा होने की उम्मीद थी, आगे के रास्ते पर असहमति के कारण स्थगित कर दी गई। इस देरी से टूर्नामेंट के प्रारूप में बदलाव हो सकता है, जिससे चैंपियंस ट्रॉफी पारंपरिक 50-ओवर के आयोजन से टी20 प्रतियोगिता में बदल सकती है। रिपोर्ट में कहा गया है, “यदि गतिरोध जारी रहता है, तो यह असंभव नहीं है कि कुछ हितधारक चैंपियंस ट्रॉफी को टी20 प्रारूप में बदलने के लिए दबाव डाल सकते हैं, जो वर्तमान क्रिकेट परिदृश्य में वनडे की तेजी से घटती लोकप्रियता की तुलना में अधिक तेज़ और अधिक प्रासंगिक है।” इस बीच, पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (पीसीबी) को महत्वपूर्ण राजस्व हानि, मुकदमों और अंतरराष्ट्रीय अलगाव का जोखिम उठाना पड़ सकता है, यदि 50 ओवर के प्रारूप पर गतिरोध के कारण वह अगले साल फरवरी-मार्च में होने वाली 2025 चैंपियंस ट्रॉफी से हट जाता है। आईसीसी आयोजनों के जानकार एक वरिष्ठ क्रिकेट प्रशासक ने बुधवार को बताया कि यदि आईसीसी और भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) द्वारा हाइब्रिड मॉडल को पूरी तरह से स्वीकार नहीं किया जाता है, तो पीसीबी के लिए टूर्नामेंट से हटना आसान नहीं होगा। प्रशासक ने बताया, पाकिस्तान ने आईसीसी के साथ एक मेजबानी समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं और सभी भाग लेने वाले देशों की तरह, इस आयोजन के लिए आईसीसी के साथ एक अनिवार्य भागीदारी समझौते (एमपीए) पर भी हस्ताक्षर किए हैं। केवल एमपीए पर हस्ताक्षर करने के बाद ही कोई सदस्य राष्ट्र आईसीसी आयोजनों से उत्पन्न राजस्व में अपना हिस्सा मांग सकता है। इससे भी महत्वपूर्ण बात यह है कि जब आईसीसी अपने सभी आयोजनों के लिए प्रसारण सौदों पर हस्ताक्षर करता है, तो यह गारंटी देता है कि सभी सदस्य राष्ट्र चैंपियंस ट्रॉफी जैसे आयोजनों में भाग लेंगे। स्थिति अभी भी अनिश्चित बनी हुई है, 2025 चैंपियंस ट्रॉफी का भविष्य अधर में लटका हुआ है, इसके प्रारूप और भागीदारी दोनों में संभावित बदलाव हैं।   2025 चैंपियंस ट्रॉफी को लेकर विवाद अभी भी अनसुलझा, कार्यक्रम और प्रारूप पर अनिश्चितता – Dispute over 2025 champions trophy still unresolved, uncertainty over schedule and format

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रोहित शर्मा की कप्तानी पर उठे सवाल, एडिलेड टेस्ट में रणनीतिक गलतियों के लिए आलोचना - Questions raised on rohit sharma captaincy, criticism for strategic mistakes in adelaide test

रोहित शर्मा की कप्तानी पर उठे सवाल, एडिलेड टेस्ट में रणनीतिक गलतियों के लिए आलोचना – Questions raised on rohit sharma captaincy, criticism for strategic mistakes in adelaide test

भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान रोहित शर्मा की कप्तानी पिंक बॉल टेस्ट में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टीम की हार के बाद सवालों के घेरे में आ गई है। पर्थ टेस्ट में भारत की शानदार जीत के बाद जसप्रीत बुमराह की अनुपस्थिति में रोहित ने टीम की कमान संभाली थी, लेकिन एडिलेड में 10 विकेट की करारी हार ने उनकी कप्तानी को लेकर कई गंभीर चर्चाओं को जन्म दिया। पूर्व भारतीय बल्लेबाज आकाश चोपड़ा ने रोहित शर्मा की कप्तानी को रक्षात्मक बताया और जसप्रीत बुमराह के इस्तेमाल को लेकर असंतोष जताया। अपने यूट्यूब चैनल पर चोपड़ा ने कहा, जसप्रीत बुमराह ने चार ओवर का स्पेल फेंका और एक विकेट भी लिया। इसके बावजूद उन्हें पूरे सत्र में गेंदबाजी क्यों नहीं दी गई? रोहित ने अपनी कप्तानी में स्पष्ट रूप से एक बड़ा मौका गंवा दिया। यह रक्षात्मक कप्तानी का उदाहरण है। चोपड़ा ने यह भी सवाल उठाया कि क्या भारतीय गेंदबाजों ने ट्रैविस हेड के खिलाफ सही रणनीति अपनाई। उन्होंने कहा, हेड को बाउंसर डालना जरूरी था। वह बार-बार परेशानी का सबब बन रहे हैं, चाहे वह विश्व कप फाइनल हो या WTC फाइनल। चोपड़ा ने आंकड़ों का हवाला देते हुए बताया कि रोहित शर्मा की कप्तानी में भारत ने लगातार चार टेस्ट मैच गंवाए हैं। अगर हम आधुनिक युग की बात करें, तो धोनी, कोहली और अब रोहित शर्मा लगातार चार टेस्ट हारने वाले कप्तानों में शामिल हो गए हैं। सबसे चिंताजनक बात यह है कि इनमें तीन हार घरेलू मैदान पर हुई हैं। रोहित शर्मा के लिए यह हार सिर्फ एक मैच नहीं, बल्कि उनके नेतृत्व की परीक्षा थी। एडिलेड में रणनीतिक चूक और रक्षात्मक फैसलों ने भारत को जीत की दौड़ से बाहर कर दिया। विशेषज्ञों का मानना है कि आगामी टेस्ट मैचों में रोहित को आक्रामक और निर्णायक रणनीतियों के साथ मैदान में उतरना होगा। भारत को अब ब्रिस्बेन, मेलबर्न और सिडनी में अपने शेष तीन टेस्ट जीतने होंगे, ताकि ICC विश्व टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल में जगह बनाई जा सके। यह आगामी मैच न केवल टीम के लिए, बल्कि रोहित शर्मा की कप्तानी की प्रतिष्ठा के लिए भी अहम साबित होंगे।   रोहित शर्मा की कप्तानी पर उठे सवाल, एडिलेड टेस्ट में रणनीतिक गलतियों के लिए आलोचना – Questions raised on rohit sharma captaincy, criticism for strategic mistakes in adelaide test

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रोहित शर्मा ने नेट सेशन में दर्शकों पर प्रतिबंध की वजह बताई, टीम की रणनीतियों को बताया निजी - Rohit sharma explained the reason for the ban on spectators in net session, said the team's strategies are private

रोहित शर्मा ने नेट सेशन में दर्शकों पर प्रतिबंध की वजह बताई, टीम की रणनीतियों को बताया निजी – Rohit sharma explained the reason for the ban on spectators in net session, said the team’s strategies are private

भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान रोहित शर्मा ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चल रही टेस्ट सीरीज के दौरान नेट सेशन में समर्थकों की मौजूदगी पर टीम प्रबंधन द्वारा लगाए गए प्रतिबंधों का कारण स्पष्ट किया। उन्होंने एडिलेड में दूसरे टेस्ट के बाद कहा कि टीम के अभ्यास सत्र बेहद निजी होते हैं और किसी भी बाहरी हस्तक्षेप से बचने की जरूरत है। गुलाबी गेंद के टेस्ट से पहले भारतीय टीम का अभ्यास सत्र जनता के लिए खुला रखा गया था, लेकिन इससे अव्यवस्था पैदा हुई। कुछ खिलाड़ियों को भीड़ से असंवेदनशील टिप्पणियों का सामना करना पड़ा। रोहित ने इस पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा,  नेट सेशन हमारे लिए बहुत निजी होते हैं। जब आप अभ्यास कर रहे होते हैं, तो कई योजनाओं पर चर्चा होती है। हम नहीं चाहते कि कोई भी उन बातचीत को सुने। रोहित ने यह भी मज़ाक में कहा कि जो प्रशंसक उन्हें देखना चाहते हैं, वे टेस्ट मैच के दौरान स्टेडियम आ सकते हैं। उन्होंने कहा, टेस्ट क्रिकेट के पांच दिन हैं। प्रशंसक उन दिनों आकर हमें खेलते हुए देख सकते हैं। रोहित ने यह भी बताया कि अभ्यास सत्र के दौरान टीम की योजनाओं और रणनीतियों पर चर्चा होती है, जो बेहद संवेदनशील होती हैं। इसलिए टीम प्रबंधन ने यह कदम उठाया है। एडिलेड ओवल में दूसरे टेस्ट में ऑस्ट्रेलिया ने भारत को दस विकेट से हराकर पांच मैचों की बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी 1-1 से बराबर कर दी। इस जीत के साथ ऑस्ट्रेलिया आईसीसी विश्व टेस्ट चैंपियनशिप (2023-2025) स्टैंडिंग में 60.71 अंक प्रतिशत के साथ शीर्ष पर पहुंच गया है। वहीं, भारत की हार के बाद अंक प्रतिशत गिरकर 57.29 हो गया और वह तीसरे स्थान पर खिसक गया। अब भारत को ब्रिसबेन, मेलबर्न और सिडनी में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अपने तीनों टेस्ट मैच जीतने होंगे ताकि वह लगातार तीसरी बार विश्व टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल में जगह बना सके। रोहित शर्मा की टीम के सामने अब तीन टेस्ट मैचों में जीत दर्ज करने की चुनौती है। फाइनल अगले साल लॉर्ड्स में खेला जाएगा, और टीम को अपनी रणनीतियों और प्रदर्शन में सुधार करना होगा।   रोहित शर्मा ने नेट सेशन में दर्शकों पर प्रतिबंध की वजह बताई, टीम की रणनीतियों को बताया निजी – Rohit sharma explained the reason for the ban on spectators in net session, said the team’s strategies are private

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