भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) टीम के कामकाज में सुधार लाने के लिए बड़े बदलावों पर विचार कर रहा है। इन बदलावों के तहत खिलाड़ियों के परिवारों के विशेषाधिकार सीमित किए जा सकते हैं। खासतौर पर विदेशी दौरों के दौरान खिलाड़ियों के पारिवारिक समय को लेकर नए नियम लागू करने की योजना बनाई जा रही है।
BCCI का यह कदम भारत के मुख्य कोच गौतम गंभीर द्वारा टीम के भीतर अनुशासनहीनता की ओर ध्यान दिलाने के बाद सामने आया है। रिपोर्ट के अनुसार, गंभीर ने बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में हार के बाद समीक्षा बैठक में भारतीय ड्रेसिंग रूम में अनुशासनहीनता का मुद्दा उठाया।
सूत्रों के हवाले से बताया गया है, गौतम गंभीर ने अनुशासनहीनता को दूर करने के लिए कड़े दिशा-निर्देश लागू करने की मांग की। उनका मानना है कि कोविड-19 से पहले के नियम, जहां खिलाड़ियों को दौरे पर केवल दो सप्ताह तक परिवार के साथ रहने की अनुमति थी, उन्हें फिर से लागू किया जाना चाहिए।
बैठक में मुख्य चयनकर्ता अजीत अगरकर और एक वरिष्ठ खिलाड़ी ने सुझाव दिया कि खिलाड़ियों की मैच फीस का वितरण उनके प्रदर्शन के आधार पर किया जाए। रिपोर्ट में कहा गया है कि कुछ खिलाड़ी राष्ट्रीय और घरेलू क्रिकेट में अपनी प्राथमिकताओं को लेकर गंभीर नहीं हैं।
बैठक में यह भी खुलासा हुआ कि बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के दौरान टीम ने केवल एक बार पूर्ण टीम डिनर आयोजित किया। बाकी समय खिलाड़ियों को छोटे-छोटे समूहों में बाहर जाते देखा गया। यह रवैया कोच गंभीर को पसंद नहीं आया और उन्होंने टीम के सामूहिक जुड़ाव पर जोर दिया।
BCCI ने खिलाड़ियों के साथ ही कोच गौतम गंभीर के निजी सहायक और प्रबंधक के विशेषाधिकारों को भी समाप्त करने का निर्णय लिया है। उनके निजी प्रबंधक को अब टीम होटल या वीआईपी बॉक्स में रुकने की अनुमति नहीं होगी।
BCCI खिलाड़ियों और कोचिंग स्टाफ के लिए सख्त दिशा-निर्देश लागू करने की योजना बना रहा है। इन बदलावों का उद्देश्य न केवल अनुशासन में सुधार करना है बल्कि टीम के प्रदर्शन और समर्पण को भी बढ़ावा देना है।
BCCI की बैठक में गौतम गंभीर का बड़ा खुलासा, खिलाड़ियों के परिवारों पर नए नियम लागू करने की योजना –
Gautam gambhir big revelation in BCCI meeting, plans to implement new rules on players families